Movie/Album: सहर (2000)
Music By: जगजीत सिंह
Lyrics By: राजेश रेड्डी
Performed By: जगजीत सिंह
ये जो ज़िन्दगी की किताब है ये किताब भी क्या किताब है कहीं इक हसीन सा ख़्वाब है कहीं जान-लेवा अज़ाब है कहीं छाँव है, कहीं धूप है कहीं और ही कोई रूप है कई चेहरे इस में छुपे हुए इक अजीब-सी ये नक़ाब है कहीं इक हसीन सा... कहीं खो दिया, कहीं पा लिया कहीं रो लिया, कहीं गा लिया कहीं छीन लेती है हर ख़ुशी कहीं मेहरबाँ बेहिसाब है कहीं इक हसीन सा... कहीं आँसुओं की है दास्ताँ कहीं मुस्कुराहटों का बयाँ कहीं बरकतों की हैं बारिशें कहीं तिश्नगी बेहिसाब है कहीं इक हसीन सा...